UP: सीएम योगी का आरोप – भोजपुरी और अवधी का विरोध कर सपा बच्चों को मौलवी बनाना चाहती है

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उत्तर प्रदेश विधानसभा के बजट सत्र के पहले दिन मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विपक्ष, विशेष रूप से समाजवादी पार्टी, पर तीखा हमला बोला। उन्होंने कहा कि सपा अपने बच्चों को इंग्लिश मीडियम स्कूलों में पढ़ाएगी और जब सरकार आम जनता के बच्चों को बेहतर सुविधाएं देने की बात करती है, तो ये लोग उर्दू थोपने की वकालत करने लगते हैं। उन्होंने आरोप लगाया कि सपा देश को कठमुल्लापन की ओर ले जाना चाहती है, जो कतई स्वीकार्य नहीं होगा।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने उत्तर प्रदेश की स्थानीय बोलियों भोजपुरी, अवधी, ब्रज और बुंदेलखंडी को विधानसभा की कार्यवाही में स्थान देने के फैसले का स्वागत किया। उन्होंने कहा कि इन बोलियों को हिंदी की उपभाषाएं मानते हुए सरकार इनके संरक्षण और संवर्धन के लिए प्रतिबद्ध है। सीएम योगी ने कहा कि हमारी सरकार इन भाषाओं के लिए अलग-अलग अकादमियों का गठन कर रही है, ताकि ये समृद्ध हों।

ये हिंदी की बेटियां हैं और इन्हें उचित सम्मान मिलना चाहिए। यह सदन केवल विद्वानों के लिए नहीं है, बल्कि समाज के हर वर्ग की आवाज को यहां स्थान मिलना चाहिए। उन्होंने कहा कि जो लोग भोजपुरी, अवधी, ब्रज और बुंदेलखंडी का विरोध कर रहे हैं, वे दरअसल उत्तर प्रदेश की सांस्कृतिक विरासत के विरोधी हैं। उन्होंने समाजवादी पार्टी को निशाने पर लेते हुए कहा कि इनका चरित्र ही दोहरा हो चुका है।

सीएम योगी ने कहा कि ब्रजभाषा इतनी समृद्ध है कि संत सूरदास ने इसी भाषा में अपनी रचनाएं दीं। इसी तरह, संत तुलसीदास जी ने अवधी में रामचरितमानस की रचना की, जो न केवल उत्तर भारत बल्कि प्रवासी भारतीयों के लिए भी संकट काल में संबल बनी। उन्होंने कहा कि जो लोग आज भोजपुरी, अवधी और ब्रज भाषा का विरोध कर रहे हैं, वे दरअसल भारत की सांस्कृतिक विरासत और परंपराओं के विरोधी हैं। यह दुखद है कि जब इन भाषाओं को सम्मान दिया जा रहा है, तब कुछ लोग इसका विरोध कर रहे हैं।

हर अच्छे कार्य का विरोध करते हैं समाजवादी
सीएम योगी ने विपक्ष पर कटाक्ष करते हुए कहा कि समाजवादी पार्टी का स्वभाव ही यह बन चुका है कि वे हर अच्छे कार्य का विरोध करेंगे। उन्होंने कहा कि आप लोग प्रदेश और देश के हित में किए जाने वाले हर सकारात्मक कदम का विरोध करते हैं। यह नहीं चलेगा। उन्होंने कहा कि विधानसभा सचिवालय ने जब स्थानीय भाषाओं को मान्यता दी तो समाजवादी पार्टी ने इसका भी विरोध किया। उन्होंने तंज कसते हुए कहा कि सपा का यह दोहरा रवैया जनता को समझ में आ रहा है और उन्हें समाज के सामने एक्सपोज किया जाना चाहिए।

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