चुनाव आयोग का एक्शन मोड, झारखंड में तोड़े अब तक के सभी रिकॉर्ड

झारखंड में इस बार चुनाव आयोग की सख्ती का असर साफ नजर आ रहा है, जिसके परिणामस्वरूप विधानसभा चुनाव के दौरान अवैध नकदी और मादक पदार्थों की रिकॉर्ड जब्ती हुई है। कुल 198.12 करोड़ रुपये की नकदी और अन्य अवैध सामग्री जब्त की गई, जो 2019 के विधानसभा चुनाव में हुई 18.76 करोड़ रुपये की जब्ती के मुकाबले लगभग 10 गुना अधिक है। यह अब तक की सबसे बड़ी जब्ती मानी जा रही है।
चुनाव आयोग ने इस बार अवैध खनन गतिविधियों और पड़ोसी राज्यों से मादक पदार्थों की आवाजाही पर विशेष ध्यान केंद्रित किया। साहिबगंज के राजमहल विधानसभा क्षेत्र में एक ही घटना में 2.26 करोड़ रुपये की अवैध खनन सामग्री जब्त की गई। डालटनगंज में 687 किलोग्राम पोस्ता और हजारीबाग में 48.18 किलोग्राम गांजा जब्त किया गया। इसके अलावा 152.22 करोड़ रुपये की मुफ्त बांटी जाने वाली सामग्री भी पकड़ी गई, जिसे चुनाव में प्रभाव डालने के लिए इस्तेमाल किया जाना था।
चुनाव के दौरान 14.84 करोड़ रुपये नकद, 7.84 करोड़ रुपये की शराब, 14.84 करोड़ रुपये के ड्रग्स, और 8.38 करोड़ रुपये की कीमती धातु जब्त की गई। ये आंकड़े दर्शाते हैं कि चुनाव आयोग ने इस बार पारदर्शिता और सख्ती पर विशेष जोर दिया।
चुनाव आयोग ने चुनाव से पहले विभिन्न एजेंसियों के अधिकारियों के साथ बैठक कर अवैध नकदी और सामग्री पर रोक लगाने के सख्त निर्देश दिए थे। चेकपोस्ट पर पारदर्शी जांच के लिए वीडियोग्राफी को अनिवार्य किया गया, जिससे जब्ती में इजाफा हुआ।
20 नवंबर को दूसरे चरण के तहत झारखंड की 34 विधानसभा सीटों पर मतदान होगा। इनमें राजमहल, दुमका, धनबाद, गिरिडीह, बोकारो, देवघर, और रामगढ़ समेत कई प्रमुख सीटें शामिल हैं। इस सख्ती से साफ है कि चुनाव आयोग निष्पक्ष और स्वच्छ चुनाव सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध है।