उधम सिंह नगर: दुकानों से तहबाजारी शुल्क वसूला, विरोध पर लौटे ठेकेदार

रुद्रपुर में नगर निगम ने एक दिसंबर से तहबाजारी का नया ठेका एक करोड़ एक लाख रुपये में दिया। इसके बाद ठेकेदार के कर्मचारियों ने ठेली, फड़ और फुटपाथ पर सामान बेचने वालों के अलावा दुकानदारों से भी शुल्क वसूलने की शुरुआत कर दी। जब व्यापारियों ने इसका विरोध किया और शुल्क देने से मना कर दिया, तो दोनों पक्षों के बीच बहस हो गई। मामला बढ़ने पर दुकानों से शुल्क वसूली रोक दी गई। इस पर नाराज व्यापारियों ने प्रदर्शन किया और एमएनए से फोन पर शिकायत की।बृहस्पतिवार को, ठेकेदार के कर्मचारी नगर निगम के टैक्स विभाग के कर्मियों के साथ मिलकर सब्जी मंडी में फड़ और ठेली वालों से शुल्क वसूलने लगे। इन लोगों ने दुकानों से भी 23 रुपये 60 पैसे की पर्ची काटनी शुरू कर दी। जब दुकानदारों ने इसका विरोध किया और शुल्क देने से इंकार कर दिया, तो ये लोग ट्रांजिट कैंप में चामुंडा मंदिर के पास दुकानों से भी शुल्क वसूलने लगे। यहां भी दुकानदारों ने विरोध किया और दोनों पक्षों के बीच बहस हो गई। इस पर ठेकेदार के लोग वहां से चले गए।
इस घटना के बाद व्यापार मंडल के पदाधिकारी मौके पर पहुंचे और शुल्क वसूली का विरोध किया। व्यापार मंडल के अध्यक्ष संजय जुनेजा ने कहा कि पहले कभी भी दुकानदारों से तहबाजारी शुल्क नहीं लिया गया है; यह केवल ठेली और फड़ वालों से लिया जाता है। उन्होंने कहा कि इस मुद्दे को लेकर एमएनए से बातचीत की जाएगी।ट्रांजिट कैंप में व्यापार मंडल के अध्यक्ष संजीव गुप्ता, मनोज छाबड़ा, संदीप राव, मनोज गुप्ता, सुरेंद्र गुप्ता, विकास बंसल, कमल सोनकर, और चेतन राठौड़ सहित कई अन्य पदाधिकारी भी मौजूद थे। एमएनए नरेश दुर्गापाल ने कहा कि यदि दुकानों से शुल्क लिया जा रहा है, तो वह गलत है। उन्होंने इस मामले में ठेकेदार से बात करने की बात कही।