बिहार उपचुनाव: NDA को 3 सीटों पर बढ़त, रामगढ़ में BSP की मजबूत चुनौती

बिहार के उपचुनावों में इस बार दांव पर सिर्फ सरकार नहीं, बल्कि सरकार और विपक्ष के दिग्गज नेताओं की साख भी लगी हुई है। खासकर तरारी, बेलागंज, रामगढ़ और इमामगंज सीटों पर चुनावी नतीजे सिर्फ उम्मीदवारों के लिए नहीं, बल्कि उनके राजनीतिक सरपरस्तों के लिए भी महत्वपूर्ण साबित हो रहे हैं। ये उपचुनाव दरअसल नेताओं की “अग्निपरीक्षा” बनकर सामने आए हैं, क्योंकि यहां चुनावी मैदान में उतरने वाले अधिकांश प्रत्याशी दिग्गज नेताओं के परिवार से ताल्लुक रखते हैं, और उनकी साख पर इन नतीजों का गहरा असर पड़ सकता है।
रामगढ़: राजद के प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद सिंह के बेटे अजीत सिंह इस सीट से चुनावी मैदान में हैं। उनकी प्रतिष्ठा दांव पर लगी है, क्योंकि रामगढ़ से राजद की पकड़ मजबूत मानी जाती है।
तरारी: यहां बीजेपी के टिकट पर पहली बार मैदान में उतरे विशाल प्रशांत, जो कि पूर्व MLC सुनील पांडेय के बेटे हैं, ने अपनी किस्मत आजमाई है। इस सीट पर उनका मुकाबला CPI(ML) के राजू यादव से है।
बेलागंज: राजद ने यहां सांसद सुरेंद्र यादव के बेटे विश्वनाथ यादव को मैदान में उतारा, जबकि JDU की मनोरमा देवी आगे चल रही हैं।
इमामगंज: केंद्रीय मंत्री जीतन राम मांझी की बहू दीपा मांझी इस सीट पर HAM (हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा) की उम्मीदवार हैं, जबकि उनके खिलाफ RJD के रौशन मांझी हैं।