दून विश्वविद्यालय में अगले सत्र से शुरू होगा हिंदू धर्म अध्ययन, वेद और विज्ञान भी होंगे पाठ्यक्रम में शामिल

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दून विश्वविद्यालय में हिंदू अध्ययन में एमए कोर्स शुरू होगा, 2026 से विद्यार्थियों को मिलेगा अवसर

दून विश्वविद्यालय जल्द ही उत्तराखंड का पहला विश्वविद्यालय बनेगा, जो हिंदू अध्ययन में एमए कोर्स शुरू करेगा। 2026 से इस विश्वविद्यालय में एक नया विभाग खोला जाएगा, जहां छात्रों को हिंदू धर्म, वेद, वेदांत, संस्कृत साहित्य, और भारतीय परंपराओं का अध्ययन कराया जाएगा। यह पाठ्यक्रम काशी हिंदू विश्वविद्यालय (BHU) और दिल्ली विश्वविद्यालय (DU) के बाद शुरू किया जा रहा है, जहां पहले से हिंदू अध्ययन के लिए पोस्टग्रेजुएट और पीएचडी प्रोग्राम चल रहे हैं।दून विश्वविद्यालय का नया पाठ्यक्रम छात्रों को हिंदू धर्म, दर्शन, वेद, वेदांग, महाभारत और रामायण जैसे महत्वपूर्ण धार्मिक ग्रंथों का गहन अध्ययन कराएगा। इसके साथ ही, भारतीय संस्कृति, संस्कृत साहित्य, ज्ञान मीमांसा, भाषा विज्ञान, और भारतीय शास्त्रों के साथ-साथ कालिदास, तुलसीदास, स्वामी विवेकानंद और आर्य समाज जैसे प्रमुख विचारकों की शिक्षाओं का भी अध्ययन किया जाएगा। इस कोर्स में हिंदू साहित्य, स्थापत्य कला, भूगोल, पुरातत्त्व, प्राचीन सैन्य विज्ञान, और हिंदू रसायनशास्त्र जैसे विषयों को भी शामिल किया जाएगा।

चूंकि यह कोर्स नया है, विश्वविद्यालय को इस विषय के लिए प्रशिक्षित प्रोफेसरों की कमी का सामना करना पड़ रहा है। बीएचयू और डीयू में पहले से इस कोर्स का संचालन हो रहा है, इसलिए दून विश्वविद्यालय इन संस्थानों से विशेषज्ञों को बुलाने की कोशिश कर रहा है। विश्वविद्यालय के प्रशासन ने प्रोफेसरों की नियुक्ति और प्रवेश के लिए सीटों की संख्या पर भी काम करना शुरू कर दिया है।इस कोर्स के पूरा होने के बाद, छात्रों के लिए कई प्रकार के करियर विकल्प खुलेंगे। वे धर्म उपदेशक, हिंदू गाइड, प्रोफेसर, और शोधकर्ता के रूप में काम कर सकते हैं। इसके अलावा, कोर्स में कंप्यूटर विज्ञान, वेब डिज़ाइनिंग और मैनेजमेंट स्टडीज जैसे विषय भी शामिल किए जाएंगे, जो छात्रों को भारतीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर रोजगार के अवसर प्रदान करेंगे भारत की राष्ट्रीय शिक्षा नीति (NEP) 2020 में भारतीय संस्कृति, भाषा और धर्म के अध्ययन पर जोर दिया गया है। इसी उद्देश्य से राज्य सरकार ने हिंदू अध्ययन कोर्स को शुरू करने का निर्णय लिया है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के प्रयासों से दून विश्वविद्यालय में इस विभाग की स्थापना हो रही है, जिससे राज्य में धार्मिक और सांस्कृतिक अध्ययन को बढ़ावा

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