महाकुंभ: संगम स्नान से पहले तीन किमी दंडवत परिक्रमा कर पहुंचे दो भाई, डुबकी से पूरी की मनौती

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बुधवार दोपहर, सेक्टर-19 स्थित शंकराचार्य मार्ग पर एक अनोखा दृश्य देखने को मिला, जब दो भाई धूल और मिट्टी से सने चकर्ड प्लेट पर दंडवत परिक्रमा करते हुए दिखाई दिए। इन दोनों ने करीब तीन किलोमीटर की दूरी तय की और संगम घाट पर पहुंचकर स्नान किया, जिससे उनकी मनौती पूरी हुई।

 

मुरैना, मध्य प्रदेश के रहने वाले राजकुमार और उनके बड़े भाई रमेश ने मकर संक्रांति के अवसर पर संगम स्नान करने की योजना बनाई थी, लेकिन भीड़ अधिक होने की वजह से परिक्रमा नहीं हो पाई थी। इसलिए, उन्होंने दंडवत परिक्रमा करने का निर्णय लिया। दोनों भाई सेक्टर-17 में रुके हुए थे और वहां से परिक्रमा शुरू की।

 

राजकुमार ने बताया कि उन्होंने इस कठिन तपस्या को महादेव की इच्छा और गंगा मइया की भक्ति के रूप में किया। वह कहते हैं, “भवानी मां की कृपा है, इसलिए दर्द का अहसास नहीं हो रहा है।” इन भाइयों के पास एक छोटा सा पत्थर था, जिससे वे रास्ते में निशान लगाते हुए परिक्रमा करते गए।

 

इस दृश्य को देखकर ड्यूटी पर तैनात पुलिसकर्मियों ने रास्ते में खड़े वाहनों और ठेलों को हटवाया, ताकि इनकी तपस्या में कोई विघ्न न आए। यह दृश्य दर्शाता है कि भक्तों का समर्पण और आस्था किस तरह से अपनी कठिन यात्राओं को आसान बना देती है।

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