Auto Expo 2025: पराली और गोबर गैस से चलने वाली कार बनी आकर्षण का केंद्र, बाइक्स ने भी खींचा युवाओं का ध्यान

वाहन निर्माता कंपनियां बदलते पर्यावरण को बचाने के लिए अपने आपको तैयार कर रही हैं। अब तक सीएनजी, ईवी, एथेनॉल से चलने वाली कारें बाजार में आई थीं, लेकिन अब पराली और गोबर गैस से चलने वाली कार भी आ गई है।
एक निजी निर्माता कंपनी ने इसे भारत मोबिलिटी ग्लोबल एक्सपो 2025 में पेश किया है। यह कार बाजार में धूम मचा रही है। इसे देखने के लिए लोगों का तांता लगा है। खास बात है कि यह कार कम लागत में सफर तय करती है।
यही नहीं, कंप्रेस्ड बायो गैस (सीबीजी) से चलने पर यह कार माइलेज भी अधिक दे रही है। सीबीजी को पराली और गोबर से तैयार किया गया है। इस कार को चलाने के लिए पेट्रोल-डीजल या सीएनजी की जरूरत नहीं है। कंपनी के प्रबंधक ने बताया कि सीबीजी भी कंप्रेस्ड नेचुरल गैस (सीएनजी) की तरह इस्तेमाल किया जाने वाला ईंधन है। इसे गाय के गोबर, पराली और सीवेज कचरे से तैयार किया जाता है।
ऐसे में इसकी लागत बाकी अन्य ईंधन से कम आती है। उन्होंने कहा कि केवल इलेक्ट्रिक वाहनों पर निर्भर रहने के बजाय हाइब्रिड टेक्नोलॉजी, सीबीजी और सीएनजी के इस्तेमाल से देश में कार्बन फुटप्रिंट को कम करने में मदद मिल सकती है। कंपनी ने अभी इसकी कीमत उजागर नहीं की है।
एक्सपो में नए-नए इनोवेशन देखने को मिल रहे हैं। एक ओर जहां कंपनियां अपने नए व्हीकल लॉन्च और पेश कर रही हैं। दूसरी ओर कई ऐसी कंपनियां हैं, जो अपने उत्पाद से लोगों का ध्यान अपनी ओर खींच रही हैं। बाजार में ऐसे टायर आ गए हैं, जिससे वाहन की माइलेज बढ़ सकती है। यह लोगों को खूब लुभा रहे हैं। वहीं, हेलमेट में लाइट से लेकर मैप तक आ गया है। यह सफर को अच्छा बना रहा है। इनकी मामूली कीमत है।
एक्सपो में कार ही नहीं बल्कि युवाओं में बाइक के प्रति क्रेज देखने को मिला। हर कोई सुपर बाइक्स का दिवाना है। इसमें अलग-अलग बाइक निर्माता कंपनी ने रेसिंग बाइक बाजार में उतारी है। यह सबका ध्यान खींच रही है।
रेसिंग बाइक एमजीपी-30 व मोजों, रेसिंग बाइक के प्रति युवाओं के बढ़ते रुझान को देखते हुए लांच की गई है। तीन रंगों में उपलब्ध बाइक में छह गियर हैं। फ्रंट के साथ ही इंडिकेटर को सुंदर रूप दिया है। सड़क पर पल भर में यह बाइक हवा से बातें करती नजर आएगी। कंपनी ने हालांकि अभी इनकी कीमत निर्धारित नहीं की है।
घर बनाने के लिए ईंट, कंक्रीट ब्लॉक और शटरिंग के खर्च से लोगों को छुटकारा मिलने की उम्मीद जगी है। ग्रेरटर नोएडा में नॉलेज पार्क स्थित इंडिया एक्सपो एंड सेंटर मार्ट में एक कंपनी ने 3डी प्रिंटिंग मशीन पेश की है, जो घर के लेआउट को मशीन में फीडकर निर्माण कार्य करती है। दीवार में पानी की पाइपलाइन और इलेक्ट्रिक वायरिंग भी करती है।
एजेक्स इंजीनियरिंग लिमिटेड के डिप्टी मैनेजर डॉ. मल्लिकार्जुन ने बताया कि प्रिंट करने से पहले मशीन में मैटेरियल को फीड करना होता है। 3डी प्रिंटर से घर के निर्माण में बिल्डिंग मैटेरियल की लागत में 35 प्रतिशत, समय में 50 प्रतिशत और मजदूर की लागत में 50 से 80 फीसदी तक कमी आ जाती है। 3डी प्रिंटिंग मशीन से बने घर पूरी तरह सुरक्षित रहते हैं।