अतिक्रमण पर योगी सरकार का प्रहार, पहली बार शहर के ‘दिल’ पर चला बुलडोजर

yugg

चंदौसी में ऐतिहासिक स्तर पर अतिक्रमण हटाओ अभियान चलाया जा रहा है, जिसने शहर की दशकों पुरानी व्यवस्था को बदल कर रख दिया है। पहली बार, 50-60 साल पहले बनी दुकानों और प्रतिष्ठानों को भी तोड़ा गया। यह अभियान फव्वारा चौक से स्टेशन रोड तक केंद्रित है, जहां शुक्रवार सुबह से तोड़फोड़ शुरू हो गई। प्रशासन की सख्ती और बुलडोजर की कार्रवाई ने पूरे इलाके में हलचल मचा दी।

जब अभियान की घोषणा हुई और बुलडोजर पहुंच गए, तो लोग गिड़गिड़ाते रहे, भावनात्मक अपीलें करते रहे, और धमकियां भी दी गईं। लेकिन डिप्टी कलेक्टर और उनकी टीम पर इसका कोई असर नहीं हुआ। अभियान का उद्देश्य सड़कों को अतिक्रमण से मुक्त कराना और यातायात को सुगम बनाना था। पहले जहां सड़कें संकरी थीं और वाहन मुश्किल से गुजरते थे, अब वे फोरलेन की तरह चौड़ी हो गई हैं।

 

पावर हाउस रोड, जो पूरी तरह से अवैध कब्जों में घिरा था, अब मुख्य मार्ग की तरह चौड़ा हो गया है। इस रोड पर कई दुकानों और मकानों को ध्वस्त कर दिया गया, जो सड़क की सीमा से बाहर थे। यह बदलाव स्थानीय निवासियों के लिए बड़ी राहत लेकर आया है, लेकिन प्रभावित दुकानदारों और मकान मालिकों में रोष है।

 

भारत सरकार की अमृत स्टेशन योजना के तहत चंदौसी रेलवे स्टेशन के कायाकल्प का काम हो रहा है। स्टेशन के मुख्य द्वार पर रेलवे की भूमि पर बनी दुकानों को डेढ़ वर्ष पहले ही हटाने का प्रस्ताव था, लेकिन कार्रवाई नहीं हो सकी। रेलवे और स्थानीय प्रशासन के बीच पत्राचार के बावजूद ठोस कदम नहीं उठाए गए थे। डिप्टी कलेक्टर ने इन दुकानों को खाली कराने का आदेश देते हुए बुधवार शाम तक का समय दिया, जिसके बाद कार्रवाई शुरू कर दी गई।

इस अभूतपूर्व अभियान ने शहर के बाहरी इलाकों से लेकर केंद्र तक बदलाव लाया है। हालांकि, प्रभावित लोगों की परेशानियां भी बढ़ी हैं। प्रशासन की सख्ती ने यातायात और सार्वजनिक सुविधाओं को बेहतर बनाने की दिशा में अहम कदम उठाया है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

हो सकता है आप चूक गए हों