फीवर वाला मौसम: बुखार और थकान-कमजोरी जैसे लक्षण, मार्च में मचाएगा तबाही

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मौसम में आए बदलाव के साथ वायरल फीवर कोरोना की तरह तेजी से पैर पसार रहा है। परिवार में कोई ना कोई सदस्य इसकी चपेट में हैं। विशेषज्ञों की माने तो मौजूदा समय अस्पताल में आ रहे ज्यादातर मरीज वायरल फीवर से पीड़ित हैं। दिल्ली के जीटीबी, डीडीयू, लोकनायक, बाबा साहब अंबेडकर, संजय गांधी, इंदिरा गांधी सहित दूसरे अस्पतालों के ओपीडी में ऐसे मरीजों की संख्या 20 से 25 फीसदी तक बढ़ गई है।

डॉक्टरों का कहना है कि रोग प्रतिरोधक क्षमता कमजोर होने के कारण यह मरीज को लंबे समय तक परेशान कर रहा है। ठीक होने के बाद भी मरीज में थकान कमजोरी सहित दूसरे लक्षण दिख रहे हैं। इस बार मार्च के मध्य तक वायरल फीवर का प्रकोप देखने को मिल सकता है। सामान्य तौर पर यह एक हफ्ते में अपने आप ही ठीक हो जाता है, लेकिन अस्पताल आ रहे मरीज लंबे समय तक बुखार ठीक ना होने थकान कमजोरी गले में दर्द की शिकायत कर रहे हैं। ऐसे लोगों को विशेष रूप से सतर्क रहने की सलाह दी जा रही है। साथ ही बताया जा रहा है कि वह सख्ती से कोविड नियमों का पालन करें जिससे उनके संपर्क में आकर दूसरा व्यक्ति पीड़ित ना हो।

बिना डॉक्टर न ले दवा
एम्स के मेडिसन विभाग के एडिशन प्रोफेसर डॉक्टर नीरज निश्चल का कहना है कि आमतौर पर किसी विशेष उपचार की आवश्यकता नहीं होती, लेकिन गंभीर लक्षणों के लिए चिकित्सा सलाह लेनी चाहिए। बिना डॉक्टर की सलाह के दवा न लें। एंटीबायोटिक दवाओं से परहेज करना चाहिए। जब तक डॉक्टर न कहें एंटीबायोटिक दवाओं को नहीं खाना चाहिए।
हो सकती है ये समस्या
वायरल फीवर एक सामान्य संक्रमण है। यह संक्रमण आमतौर पर बुखार, सर्दी, खांसी, गले में खराश, शरीर में दर्द, थकावट, सिर दर्द, और कभी-कभी दस्त या उल्टी सहित दूसरी समस्याओं के कारण होता है।
हो सकता है इनके कारण
वायरल फीवर कई प्रकार के वायरस के कारण हो सकता है। इसमें इन्फ्लूएंजा वायरस, डेंगू, चिकनगुनिया, हिपेटाइटिस, सर्दी-जुकाम के कारण होने वाले वायरस शामिल हैं।

कर रहा है एक माह तक परेशान
कोरोना महामारी के बाद प्रभावित हुए रोग प्रतिरोधक क्षमता के कारण यह बुखार एक माह तक परेशान कर रहा है। हालांकि ये रोग आमतौर पर कुछ दिनों से लेकर एक सप्ताह तक रहता है।

ऐसे करें बचाव
– भीड़ भाड़ वाले जगह जाने से बचे
– मास्क का करें इस्तेमाल
– करें स्वच्छता उपायों का पालन
– नियमित हाथ साफ करें
– बीमार लोगों से संपर्क में आने से बचे

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