उत्तरकाशी मस्जिद विवाद: महापंचायत को शर्तों के साथ अनुमति, धारा 163 लागू

प्रशासन ने महापंचायत को 15-16 शर्तों के साथ अनुमति दी है, जिनमें हेट स्पीच न करने, रैली न निकालने, ट्रैफिक को बाधित न करने, धार्मिक भावनाओं को ठेस न पहुंचाने और शांति व्यवस्था बनाए रखने की शर्तें शामिल हैं। इसके अलावा, निषेधाज्ञा के तहत किसी को भी लाठी, डंडा, चाकू, भाला या कोई भी धारदार हथियार और आग्नेय शस्त्र लेकर क्षेत्र में प्रवेश करने की अनुमति नहीं होगी। वहीं, पांच या उससे अधिक लोगों का एक साथ इकट्ठा होना भी पूरी तरह से प्रतिबंधित रहेगा। सांस्कृतिक और राजनीतिक कार्यक्रमों पर भी पाबंदी रहेगी। इन नियमों का उल्लंघन करने पर कड़ी सजा दी जाएगी।देवभूमि विचार मंच के जिला संयोजक कीर्ति सिंह ने बताया कि उन्हें अभी तक लिखित अनुमति पत्र नहीं मिला है, लेकिन प्रशासन ने शनिवार को अनुमति देने का वादा किया है।
उन्होंने यह भी बताया कि महापंचायत में विहिप और बजरंग दल के उच्च पदाधिकारी, जैसे विहिप के प्रदेश संयोजक अनुज वालिया और बजरंग दल के अजय भी शामिल होंगे।इस बीच, प्रशासन द्वारा मस्जिद मोहल्ले में निषेधाज्ञा लागू करने के संबंध में जारी प्रेस नोट में पहली बार मस्जिद को “विवादित स्थल/विवादित ढांचा” कहा गया है। इससे पहले, प्रशासन ने कभी भी इसे विवादित नहीं माना था। इस पर अल्पसंख्यक सेवा समिति के सदस्य इश्तियाक अहमद ने आपत्ति जताई है। उनका कहना है कि जब वक्फ संपत्ति की पूरी जांच की गई थी, तो सभी दस्तावेज सही पाए गए थे, जिसके आधार पर गजट नोटिफिकेशन जारी हुआ। वे आरोप लगा रहे हैं कि प्रशासन दबाव में आकर तथ्यों को बदल रहा है, जो स्थिति को और जटिल बना रहा है।यह मामला अब और भी विवादित होता जा रहा है, और प्रशासन की कार्रवाई पर सवाल उठने लगे हैं।