इंग्लैंड-अमेरिका में झारखंडवासियों ने मनाई छठ पूजा, देश से दूर रहकर भी नहीं भूले परंपराएं

छठ पूजा, जो बिहार और झारखंड के प्रमुख त्योहारों में से एक है, अब सिर्फ भारत में ही नहीं, बल्कि विदेशों में भी धूमधाम से मनाई जा रही है। विशेष रूप से अमेरिका और इंग्लैंड में रहने वाले प्रवासी भारतीय इस पर्व को बड़े श्रद्धा भाव से मनाते हैं। न्यू जर्सी, यूएसए में रह रहे प्रवासी झारखंडवासी इस बार भी छठ पूजा का आयोजन कर रहे हैं। इस चार दिवसीय पर्व की शुरुआत नहाय-खाय से मंगलवार को हुई, और बुधवार को खरना का आयोजन घरों में किया जाएगा। इसके बाद पपीयरनी पार्क में संध्या अर्घ और चौथे दिन उषा अर्घ अर्पित किया जाएगा।
बोकारो की शकुंतला सिंह ने भी अपने परिवार की छठ पूजा की परंपरा को आगे बढ़ाने के लिए न्यू जर्सी में यह आयोजन किया है। उन्होंने बताया कि विदेश में रह रहे बच्चे, जो नौकरी के कारण स्वदेश लौट नहीं सकते, उनके लिए यह पर्व एकता और संस्कृति को बनाए रखने का एक महत्वपूर्ण माध्यम बन गया है। वहीं, न्यू जर्सी में बिहार और झारखंड के प्रवासी एकजुट होकर पर्व मनाते हैं, जहां भागलपुर की अंजू सिन्हा और पूजा पांडेय भी शामिल हैं। इस बार पूजा पांडेय अमेरिका के फीनिक्स में पहली बार छठ पूजा कर रही हैं।
इसी तरह, यूनाइटेड किंगडम में भी बिहारी कनेक्ट यूके संस्था छठ महापर्व का आयोजन कर रही है, जो छह से आठ नवंबर तक लंदन के हाउंस्लो स्थित ब्रह्मर्षि आश्रम में मनाया जाएगा। यहां लगभग दो हजार लोग इस महापर्व में भाग लेंगे। इस आयोजन का नेतृत्व कैप्टन ओम प्रकाश कर रहे हैं, जो बिहारी कनेक्ट यूके के सचिव भी हैं। इस कार्यक्रम में विभिन्न पूजा सामग्री, जैसे कपड़े, सूप, दौरा, और फल, विशेष रूप से बिहार से मंगाए गए हैं, क्योंकि ये सामग्री यूके में आसानी से उपलब्ध नहीं होतीं।
इन आयोजनों में एकजुटता और सामूहिक पूजा अनुष्ठान का माहौल होता है, जिसमें लोग ठेकुआ बनाते हैं और छठ के पारंपरिक गीत गाकर धार्मिक वातावरण को भक्ति से भर देते हैं। इस तरह के आयोजन न केवल अपनी सांस्कृतिक पहचान को बनाए रखने का एक तरीका हैं, बल्कि विदेशों में भारतीयों की सांस्कृतिक धरोहर को जीवित रखने का भी एक महत्वपूर्ण साधन बने हैं।